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Evolution of Internet

                                                                                                                                                                    Blog By    Akkumahanthi Sowmya

Evolution of Internet :

                     
  From the early days of ARPANET to today's mobile technologies, the internet serves the large and most diverse community of network users in the enrooting world. The internet started as an experiment in the late 1960s by the advanced research agency (APRA, now called DAPRA) of U.S. Department of Defense. DAPRA experimented with the connection of computer networks by giving grants to multiple universities and private companies to get them involved in the research.     

             
            In December 1969, the experimental network went online with the connection of four mode network connected via 56 Kbps circuits. This new technology proved to be highly reliable and led to the creation of two similar military networks, MILNET in the U.S. and MINET in Europe.thousands of hosts and users subsequently connected their private networks ( universities and government) to the ARPANET, thus creating the initial “APRA Internet
               
         A day won't pass in our lives without the use of internet starting from checking the updates from our phones in what’s app, emails, and of course facebook. The usage of internet has a point of paramount significance. On the basis of internet we are able to book cabs from the point of place we are, and book tickets for the movies, book restaurant tables, with one click we are able to transfer the money from one account to another without going to the far places to do the same, online shopping which has become so common these days there are wide variety choices to choose from the place we live rather going to different malls and straining our selves to get the best one of our choice.
                    
           
           When life has become so easy through the usage of the internet it's better if we use the time in a pertinent manner. We can actually make business out these sources, internet has open doors for the online offices and one will be able to contact or get in touch through the sites that have come up recently and domains which we can buy and make the business famous if one is interested in the cooking that person can take orders from online and send them the items to destination, this will reduce the cost of offices that are situated. One can get to do freelancing, which helps to experiment with the creative ideas and internet gives you the platform.
                          
                      Everything has two sides one is the positive and one is negative it depends on the persons perspective. Technology is certainly a good thing because it has made communication and access to information much easier. It has turned the world into a global village and created a wonderful platform for entrepreneurs who want to expand their enterprises. E-commerce is a business model for the modern world and with the adoption of the right strategies, it can turn a small business into an empire.  




BBA Second Year, Bhavan's
















By: Akkumahanthi Sowmya
      BBA Second year, Bhavan's

Twitter: @sowmya_12   


http://www.anxietyattak.com/2017/11/evolution-of-internet.html

#origin of internet
#inetrnet timeline
#internet opputunities
#optimum usage of internet

#wise choices for development

60 Positive Points

positive points

1:- जीवन में वो ही व्यक्ति असफल होते है, जो सोचते है पर करते नहीं ।

2 :- भगवान के भरोसे मत बैठिये क्या पता भगवान आपके भरोसे बैठा हो…

3 :- सफलता का आधार है सकारात्मक सोच और निरंतर प्रयास !!!

4 :- अतीत के ग़ुलाम नहीं बल्कि भविष्य के निर्माता बनो…

5 :- मेहनत इतनी खामोशी से करो की सफलता शोर मचा दे…

6 :- कामयाब होने के लिए अकेले ही आगे बढ़ना पड़ता है, लोग तो पीछे तब आते है जब हम कामयाब होने लगते है.

7 :- छोड़ दो किस्मत की लकीरों पे यकीन करना, जब लोग बदल सकते हैं तो किस्मत क्या चीज़ है…

8 :- यदि हार की कोई संभावना ना हो तो जीत का कोई अर्थ नहीं है…

9 :- समस्या का नहीं समाधान का हिस्सा बने…

10 :- जिनको सपने देखना अच्छा लगता है उन्हें रात छोटी लगती है और जिनको सपने पूरा करना अच्छा लगता है उनको दिन छोटा लगता है…

11 :- आप अपना भविष्य नहीं बदल सकते पर आप अपनी आदतें बदल सकते है और निशचित रूप से आपकी आदतें आपका भविष्य बदल देगी !

12 :- एक सपने के टूटकर चकनाचूर हो जानें के बाद दूसरा सपना देखने के हौसले को ज़िंदगी कहते है !!!

13 :- वो सपने सच नहीं होते जो सोते वक्त देखें जाते है, सपने वो सच होते है जिनके लिए आप सोना छोड़ देते है…

14 :- सफलता का चिराग परिश्रम से जलता है !!!

15 :- जिनके इरादे बुलंद हो वो सड़कों की नहीं आसमानो की बातें करते है…

16 :- सत्य परेशान हो सकता है पराजित नहीं…

17 :- मैं तुरंत नहीं लेकिन निश्चित रूप से जीतूंगा…

18 :- सबसे बड़ा रोग क्या कहेंगें लोग…

19 :- आशावादी हर आपत्तियों में भी अवसर देखता है और निराशावादी बहाने !!!

20 :- आप में शुरू करने की हिम्मत है तो, आप में सफल होने के लिए भी हिम्मत है…

21 :- सच्चाई वो दिया है जिसे अगर पहाड़ की चोटी पर भी रख दो तो बेशक रोशनी कम करे पर दिखाई बहुत दूर से भी देता है.

22 :- संघर्ष में आदमी अकेला होता है, सफलता में दुनिया उसके साथ होती है ! जिस जिस पर ये जग हँसा है उसी उसी ने इतिहास रचा है.

23 :- खोये हुये हम खुद है और ढूढ़ते ख़ुदा को है !!!

24 :- कामयाब लोग अपने फैसले से दुनिया बदल देते है और नाकामयाब लोग दुनिया के डर से अपने फैसले बदल लेते है…

25 :- भाग्य को और दूसरों को दोष क्यों देना जब सपने हमारे है तो कोशिशें भी हमारी होनी चाहियें !!!

26 :- यदि मनुष्य सीखना चाहे तो उसकी प्रत्येक भूल उसे कुछ न कुछ सिखा देती है !!!

27 :- झूठी शान के परिंदे ही ज्यादा फड़फड़ाते है तरक्की के बाज़ की उड़ान में कभी आवाज़ नहीं होती…

28 :- समस्या का सामना करें, भागे नहीं, तभी उसे सुलझा सकते हैं…

29 :- परिवर्तन से डरना और संघर्ष से कतराना मनुष्य की सबसे बड़ी कायरता है.

30 :- सुंदरता और सरलता की तलाश चाहे हम सारी दुनिया घूम के कर लें लेकिन अगर वो हमारे अंदर नहीं तो फिर सारी दुनिया में कहीं नहीं है.

31 :- ना किसी से ईर्ष्या ना किसी से कोई होड़, मेरी अपनी मंज़िलें मेरी अपनी दौड़…

32 :- ये सोच है हम इंसानों की कि एक अकेला क्या कर सकता है, पर देख ज़रा उस सूरज को वो अकेला ही तो चमकता है !!!

33 :- लगातार हो रही सफलताओं से निराश नहीं होना चाहिए क्योंकि कभी कभी गुच्छे की आखिरी चाबी भी ताला खोल देती है…

34 :- जल्द मिलने वाली चीजें ज्यादा दिन तक नहीं चलती और जो चीजें ज्यादा दिन तक चलती है वो जल्दी नहीं मिलती है.

35 :- इंसान तब समझदार नहीं होता जब वो बड़ी बड़ी बातें करने लगे, बल्कि समझदार तब होता है जब वो छोटी छोटी बातें समझने लगे…

36 :- सेवा सभी की करना मगर आशा किसी से भी ना रखना क्योंकि सेवा का वास्तविक मूल्य नही दे सकते है, 

37 :- मुश्किल वक्त का सबसे बड़ा सहारा है “उम्मीद” !! जो एक प्यारी सी मुस्कान दे कर कानों में धीरे से कहती है “सब अच्छा होगा” !!

38 :- दुनिया में कोई काम असंभव नहीं, बस हौसला और मेहनत की जरुरत है !!!

39 :- वक्त आपका है चाहे तो सोना बना लो और चाहे तो सोने में गुजार दो, दुनिया आपके उदाहरण से बदलेगी आपकी राय से नहीं…

40 :- बदलाव लाने के लिए स्वयं को बदले…

41 :- सफल व्यक्ति लोगों को सफल होते देखना चाहते है, जबकि असफल व्यक्ति लोगों को असफल होते देखना चाहते है…

42 :- घड़ी सुधारने वाले मिल जाते है लेकिन समय खुद सुधारना पड़ता है !!!

43 :- दुनिया में सब चीज मिल जाती है केवल अपनी ग़लती नहीं मिलती…

44 :- क्रोध और आंधी दोनों बराबर… शांत होने के बाद ही पता चलता है की कितना नुकसान हुवा…

45 :- चाँद पे निशान लगाओ, अगर आप चुके तो सितारों पे तो जररू लगेगा !!!
46 :- गरीबी और समृद्धि दोनों विचार का परिणाम है…

47 :- पसंदीदा कार्य हमेशा सफलता, शांति और आनंद ही देता है…

48 :- जब हौसला बना ही लिया ऊँची उड़ान का तो कद नापना बेकार है आसमान का…

49 :- अपनी कल्पना को जीवन का मार्गदर्शक बनाए अपने अतीत को नहीं…

50 :- समय न लागओ तय करने में आपको क्या करना है, वरना समय तय कर लेगा की आपका क्या करना है.

51 :- अगर तुम उस वक्त मुस्कुरा सकते हो जब तुम पूरी तरह टूट चुके हो तो यकीन कर लो कि दुनिया में तुम्हें कभी कोई तोड़ नहीं सकता !!!

52 :- कल्पना के बाद उस पर अमल ज़रुर करना चाहिए। सीढ़ियों को देखते रहना ही पर्याप्त नहीं है, उन पर चढ़ना भी ज़रुरी है।

53 :- हमें जीवन में भले ही हार का सामना करना पड़ जाये पर जीवन से कभी नहीं हारना चाहिए…

54 :- सीढ़ियां उन्हें मुबारक हो जिन्हें छत तक जाना है, मेरी मंज़िल तो आसमान है रास्ता मुझे खुद बनाना है !!!

55 :- हजारों मील के सफ़र की शुरुआत एक छोटे कदम से होती है…

56 :- मनुष्य वही श्रेष्ठ माना जाएगा जो कठिनाई में अपनी राह निकालता है ।

57 :- पुरुषार्थ से असंभव कार्य भी संभव हो जाता है…

58 :- प्रतिबद्ध मन को कठिनाई का सामना करना पड़ सकता है, पर अंत में उसे अपने परिश्रम का फल मिलेगा ।

59 :- असंभव समझे जाने वाला कार्य संभव करके दिखाये, उसे ही प्रतिभा कहते हैं ।

60 :- आने वाले कल को सुधारने के लिए बीते हुए कल से शिक्षा लीजिए…

61 :- जो हमेशा कहे मेरे पास समय नहीं है, असल में वह व्यस्त नहीं बल्कि अस्त-व्यस्त है ।

62 :- कठिनाइयाँ मनुष्य के पुरुषार्थ को जगाने आती हैं…

63 :- क्रोध वह हवा है जो बुद्धि के दीप को बुझा देती है ।

64 :- आपका भविष्य उससे बनता है जो आप आज करते हैं, उससे नहीं जो आप कल करेंगे…

65 :- बन सहारा बे सहारों के लिए बन किनारा बे किनारों के लिए, जो जिये अपने लिए तो क्या जिये जी सको तो जियो हजारों के लिए ।

66 :- चाहे हजार बार नाकामयाबी हो, कड़ी मेहनत और सकारात्मक सोच के साथ लगे रहोगे तो अवश्य सफलता तुम्हारी है…

67 :- खुद की तरक्की में इतना समय लगा दो, कि किसी और की बुराई का वक्त ही ना मिले !!!

68 :- प्रगति बदलाव के बिना असंभव है, और जो अपनी सोच नहीं बदल सकते वो कुछ नहीं बदल सकते…

69 :- खुशी के लिए काम करोगे तो ख़ुशी नहीं मिलेगी, लेकिन खुश होकर काम करोगे, तो ख़ुशी और सफलता दोनों ही मिलेगी ।

70 :- पराजय तब नहीं होती जब आप गिर जाते हैं, पराजय तब होती है जब आप उठने से इनकार कर देते हैं ।

71 :- मन बुद्ध जैसा और दिल बच्चों जैसा होना चाहिए







60 Positive Points

1: - In life, the same person fails, who do not think but do it.

2: - Do not believe in God, do you know what God is sitting on your trust ...

3: - The basis of success is positive thinking and continuous effort !!!

4: - Be not a slave of the past but a creator of the future ...

5: - Make the success of doing so with a lonely hard work ...

6: - To succeed is to go alone, people come back after we start to succeed.

7: - Leave aside the fate of luck, when people can change, what is the luck ...

8: - If there is no possibility of defeat then there is no sense of victory ...

9: - Become a part of the solution to the problem ...

10: - Those who like to dream, they seem to be short of the night, and those who like to fulfill their dream, they find the days younger ...

11: - You can not change your future but you can change your habits and your habits will definitely change your future!

12: - After a dream breaks out, know the dream of the second dream is life!

13: - Those dreams are not true, which are seen in the sleep, dreams are the truth for which you leave the gold ...

14: - The lamp of success burns through diligence !!!

15: - Those whose intentions are elevated, do not talk of the streets of the sky ...

16: - Truth may be upset not defeated ...

17: - I will not immediately but definitely live ...

18: - What is the biggest disease people will say ...

19: - Optimists also see opportunities in every objection and pessimistic excuses !!!

20: - If you have the courage to start, you also have the courage to succeed in ...

21: - The truth is given that if you put it on the top of the mountain, of course, reduce the light but lets see it from a very far away.

22: - The man is alone in the struggle, the world is in success with him! The one on whom this world is laughing has made history.

23: - We are lost and are looking for God !!!

24: - Successful people change the world by their decisions, and unsuccessful people change their decisions fearing the world ...

25: - Why to blame fate and others when dreams are ours then our efforts should also be !!!

26: - If a person wishes to learn, every mistake of him teaches him something else !!!

27: - The horrors of false pride are fluttering more than ever, there is no voice in flight of falcons ...

28: - Face the problem, do not run, then you can solve it ...

29: - Scare away from change and wreak the struggle with man's greatest cowardice.

30: - Looking for beauty and simplicity Whether we can roam the whole world but if she is not inside us then there is nowhere in the whole world.

31: - No one envious of anyone, no competition with anyone, my own goals are my own race ...

32: - It's a thinking that we can do a lonely person, but see that the sun shines that sun alone !!!

33: - Should not be disappointed with the successes being constantly, because sometimes the last key of the flick also unlocks ...

34: - The things that happen sooner do not last long and the things which last for a long time do not get very fast.

35: - Humans are not sensible when they start talking big things, but they become sensible when they start to understand the small things ...

36: - Doing all the services but not keeping any hope from anyone because they can not give the actual value of the service,

37: - The biggest support of the hard times is "hope" !! Who gives a sweet smile and says softly in the ears "all will be good" !!

38: - No work in the world is impossible, just need of encouragement and hard work !!!

39: - Time is yours, if you want to make gold and if you want to spend in gold, the world will change from your example, not by your opinion ...

40: - Change yourself to bring change ...

41: - Successful people want to see people succeed, while unsuccessful people want to see them fail ...

42: - Clockmakers find it, but time itself has to be improved !!!

43: - All things in the world are found only, not their mistakes ...

44: - Both anger and gale are equal ... only after the calm becomes aware of how much damage ...

45: - Put a mark on the moon, if you do, then you will look at the stars !!!
46: - The result of both poverty and prosperity is the result ...

47: - Favorite work always gives success, peace and happiness ...

48: - When the courage is made, it is worthless to imitate the height of the sky.

49: - Making your imagination guide the life, not your past ...

50: - What you have to do in deciding not to take time, otherwise you will have time to decide what to do.

51: - If you can smile at that time when you are completely broken, then believe that you can never break into the world !!!

52: - After imagination, it must be implemented. It is not enough just to see the stairs, it is also necessary to climb them.

53: - Even if we face defeat in life, we should never lose from life ...

54: - Ladders are welcome to go to the roof, my destination is the sky, the path I have to make myself !!!

55: - The journey of thousands of miles begins with a small step ...

56: - Man will be considered as the best person who leads his way in difficulty.

57: - Impossible work also makes possible impossible ...

58: - The committed mind can face difficulties, but in the end it will get the fruits of its labor.

59: - Show possible the possible work to be done, it is called talent.

60: - Yesterday for improving tomorrow tomorrow

Paradise Papers and The Wire Reported in Express

Report of Paradise Papers and The Wire Reported in Express
Hindi readers should buy today's English Indian Express. You will be better as a reader. In Hindi, all this will not be obtained because most of the Hindi newspaper's editors are the grocers of the government of their era.

It is a very skill work to understand corporate documents and drawbacks in it. The ability to understand the inner secrets does not happen in everyone. I used to raise my hand too many times for this reason too. In the newsroom, there are no people with such skills that you can manubulate easily or you can move forward by asking.
It has been resolved by the International Consortium of Investigative Journalists. A group of 96 news organizations from around the world have been formed. There are also lawyers, who understand corporate accounts, as well as chartered accountants. Express is part of it. You will not find any Hindi newspaper shareholder. You can not do the reporting of the corporate without the journalists' global network.

Having understood the reading of 1 crore 30 million corporate documents, newspapers in the world have started to appear. Today in the Indian Express it is featured on many pages. Will print even further. Combining the Panama Papers and Paradise Papers, five hundred thousand people have the money to capture the system. You will continue to tear down your morals, but this cruel aristocratic system will be in full swing. It does not make any difference. There is no morality here. That's the front of ethics.
The name of RK Sinha, the richest and BJP MP in the Rajya Sabha. There is also the name of Jayant Sinha. Both have responded. The celebration of black money is going to be celebrated on the anniversary of the ban on bondage. On such occasions, this inspection of Paradise Papers will prevent us from flowing emotionally. The names of Amitabh Bachchan, Ashok Gehlot, Dr. Ashok Seth, Coaching Company Fitzi, Neera Radia are also named. In the coming days, no one knows who Kiss will come from, not from the media company to the pharmaceutical company.
If you read Jayant Sinha's cleanliness in the Express's report, then it would seem that there is no special case. When you read this news on PANDO.COM on May 26, 2014 on the analysis of MARKS AMES, it will be seen that the game has been played with you. Now there is no need to abuse or to abuse. What has been printed today, MARK AMES had written on May 26, 2014 that the Omeadian Network was working for Modi's victory. That is, in 2009, the Omidyar Network invested the most in India, its director Jayant Sinha had a big role in this investment. In 2013 Jayant Sinha resigned and announced to join Modi's Vijay campaign. In the same year, Narendra Modi gave a speech in a gathering of traders that there is a need to open e-commerce. It was just opposite to BJP's policy. At that time, the BJP was strongly opposing foreign investment in the retail sector in Parliament.

 The BJP-backed merchants were standing firmly with the party that the BJP was only protecting its interests, but he did not even know that this party has been affected by a network whose purpose is only the echo. Increasing the opportunity of foreign investment in e-commerce

I got to know about PANDO.COM today. I do not know what that is but you also think that on May 26, 2014, it was only going to understand the game behind the scenes. We and you will never understand this kind of game and are not understandable. Only then does the leader see our spectacle by throwing rotten bread of Hindu Muslims before us.

When Modi won, the Omemyar Network congratulated him by tweeting. Telegraph has been cited in the report of a press conference in Hazaribagh. In which local BJP leader Shiv Shankar Prasad Gupta says that Jayant Sinha has worked with Modi's team for two years in 2012-13. During this time, Jayant Sinha was also working in Omidiyar Network. In his reply, he said that he resigned in 2013.

In this, Mark has written that Jayant Sinha is an officer in the Ondiar Network, but he is a director in the Think Tank India Foundation connected to the BJP. The news has been printed in the wire about this foundation. Shaurya Doval, son of National Security Adviser Ajit Doval, is the founder of this foundation. Jayant Sinha used to advocate for exemption of foreign investment in e-commerce while his party used to pretend to strongly protest against foreign investment in the retail sector. How do people see this game? what understand. It is very difficult. Express reports should be read with the wire.in and PANDO.COM.


Are you right to understand such a game? My heart has sat down. When we were reading the wire report, we did not have a three year old report of PANDO.COM. Then we did not have Paradise Papers. Do we really know that these leaders who appear in front of us day and night are not the front of any company or network? Do we know that this is the reason behind the victory of 2014











एक्सप्रेस में छपे पैराडाइस पेपर्स और द वायर की रिपोर्टहिन्दी के पाठकों को आज का अंग्रेज़ी वाला इंडियन एक्सप्रेस ख़रीद कर रख लेना चाहिए। एक पाठक के रूप में आप बेहतर होंगे। हिन्दी में तो यह सब मिलेगा नहीं क्योंकि ज्यादातर हिन्दी अख़बार के संपादक अपने दौर की सरकार के किरानी होते हैं।
कारपोरेट के दस्तावेज़ों को समझना और उसमें कमियां पकड़ना ये बहुत ही कौशल का काम है। इसके भीतर के राज़ को समझने की योग्यता हर किसी में नहीं होती है। मैं तो कई बार इस कारण से भी हाथ खड़े कर देता हूं। न्यूज़ रूम में ऐसी दक्षता के लोग भी नहीं होते हैं जिनसे आप पूछकर आगे बढ़ सकें वर्ना कोई आसानी से आपको मैनुपुलेट कर सकता है।
इसका हल निकाला है INTERNATIONAL CONSORTIUM OF INVESTIGATIVE JOURNALISTS ने। दुनिया भर के 96 समाचार संगठनों को मिलाकर एक समूह बना दिया है। इसमें कारपोरेट खातों को समझने वाले वकील चार्टर्ड अकाउंटेंट भी हैं। एक्सप्रेस इसका हिस्सा है। आपको कोई हिन्दी का अख़बार इसका हिस्सेदार नहीं मिलेगा। बिना पत्रकारों के ग्लोबल नेटवर्क के आप अब कोरपोरेट की रिपोर्टिंग ही नहीं कर सकते हैं।
1 करोड़ 30 लाख कारपोरेट दस्तावेज़ों को पढ़ने समझने के बाद दुनिया भर के अख़बारों में छपना शुरू हुआ है। इंडियन एक्सप्रेस में आज इसे कई पन्नों पर छापा है। आगे भी छापेगा। पनामा पेपर्स और पैराडाइस पेपर्स को मिलाकर देखेंगे तो पांच सौ हज़ार लोगों का पैसे के तंत्र पर कब्ज़ा है। आप खुद ही अपनी नैतिकता का कुर्ता फाड़ते रह जाएंगे मगर ये क्रूर कुलीन तंत्र सत्ता का दामन थामे रहेगा। उसे कोई फर्क नहीं पड़ता है। उसके यहां कोई नैतिकता नहीं है। वो नैतिकता का फ्रंट भर है।
राज्य सभा में सबसे अमीर और बीजेपी के सांसद आर के सिन्हा का भी नाम है। जयंत सिन्हा का भी नाम है। दोनों ने जवाब भी दिया है। नोटबंदी की बरसी पर काला धन मिटने का जश्न मनाया जाने वाला है। ऐसे मौके पर पैराडाइस पेपर्स का यह ख़ुलासा हमें भावुकता में बहने से रोकेगा। अमिताभ बच्चन, अशोक गहलोत, डॉ अशोक सेठ, कोचिंग कंपनी फिट्जी, नीरा राडिया का भी नाम है। आने वाले दिनों में पता नहीं किस किस का नाम आएगा, मीडिया कंपनी से लेकर दवा कंपनी तक मालूम नहीं।
एक्सप्रेस की रिपोर्ट में जयंत सिन्हा की सफाई पढ़ेंगे तो लगेगा कि कोई ख़ास मामला नहीं है। जब आप इसी ख़बर को PANDO.COM पर 26 मई 2014 को MARKS AMES के विश्लेषण को पढ़ेंगे तो लगेगा कि आपके साथ तो खेल हो चुका है। अब न ताली पीटने लायक बचे हैं न गाली देने लायक। जो आज छपा है उसे तो MARK AMES ने 26 मई 2014 को ही लिख दिया था कि ओमेदियार नेटवर्क मोदी की जीत के लिए काम कर रहा था। यही कि 2009 में ओमेदियार नेटवर्क ने भारत में सबसे अधिक निवेश किया, इस निवेश में इसके निदेशक जयंत सिन्हा की बड़ी भूमिका थी। 2013 में जयंत सिन्हा ने इस्तीफा देकर मोदी के विजय अभियान में शामिल होने का एलान कर दिया। उसी साल नरेंद्र मोदी ने व्यापारियों की एक सभा मे भाषण दिया कि ई-कामर्स को खोलने की ज़रूरत है। यह भाजपा की नीति से ठीक उलट था। उस वक्त भाजपा संसद में रिटेल सेक्टर में विदेश निवेश का ज़ोरदार विरोध कर रही थी। भाजपा समर्थक व्यापारी वर्ग पार्टी के साथ दमदार तरीके से खड़ा था कि उसके हितों की रक्षा भाजपा ही कर रही है मगर उसे भी नहीं पता था कि इस पार्टी में एक ऐसे नेटवर्क का प्रभाव हो चुका है जिसका मकसद सिर्फ एख ही है। ई कामर्स में विदेश निवेश के मौके को बढ़ाना।
मुझे PANDO.COM के बारे में आज ही पता चला। मैं नहीं जानता हूं क्या है लेकिन आप भी सोचिए कि 26 मई 2014 को ही पर्दे के पीछे हो रहे इस खेल को समझ रहा था। हम और आप इस तरह के खेल को कभी समझ ही नहीं पाएंगे और न समझने योग्य हैं। तभी नेता हमारे सामने हिन्दू मुस्लिम की बासी रोटी फेंकर हमारा तमाशा देखता है।
जब मोदी जीते थे तब ओमेदियार नेटवर्क ने ट्वीट कर बधाई दी थी। टेलिग्राफ में हज़ारीबाग में हे एक प्रेस कांफ्रेंस की रिपोर्ट का हवाला दिया गया है। जिसमें स्थानीय बीजेपी नेता शिव शंकर प्रसाद गुप्त कहते हैं कि जयंत सिन्हा 2012-13 में दो साल मोदी की टीम के साथ काम कर चुके हैं। इस दौरान जयंत सिन्हा ओमिदियार नेटवर्क में भी काम कर रहे थे। उन्होंने अपने जवाब में कहा है कि 2013 में इस्तीफा दिया।
इसमें मार्क ने लिखा है कि जयंत सिन्हा ओमेदियार नेटवर्क के अधिकारी होते हुए भी बीजेपी से जुड़े थिंक टैंक इंडिया फाउंडेशन में निदेशक हैं। इसी फाउंडेशन के बारे में इन दिनों वायर में ख़बर छपी है। शौर्य डोवल जो राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोवल के बेटे हैं, वो इस फाउंडेशन के सर्वेसर्वा हैं। जयंत सिन्हा ई कामर्स में विदेशी निवेश की छूट की वकालत करते रहते थे जबकि उनकी पार्टी रिटेल सेक्टर में विदेशी निवेश को लेकर ज़ोरदार विरोध करने का नाटक करती थी। जनता इस खेल को कैसे देखे। क्या समझे। बहुत मुश्किल है। एक्सप्रेस की रिपोर्ट को the wire.in और PANDO.COM के साथ पढ़ा जाना चाहिए।

क्या सही में आप इस तरह के खेल को समझने योग्य हैं? मेरा तो दिल बैठ गया है। जब हम वायर की रिपोर्ट पढ़ रहे थे तब हमारे सामने PANDO.COM की तीन साल पुरानी रिपोर्ट नहीं थी। तब हमारे सामने पैराडाइस पेपर्स नहीं थे। क्या हम वाकई जानते हैं कि ये जो नेता दिन रात हमारे सामने दिखते हैं वे किसी कंपनी या नेटवर्क के फ्रंट नहीं हैं? क्या हम जानते हैं कि 2014 की जीत के पीछे लगे इस प्रकार 









Save Poor Drivers from Uber and Ola Cab

Save Poor Drivers from Uber and Ola Cab

Ola, Uber drivers start seeking help from public

Please save poor Driver’s families’ and ‘Rescue from Ola and Uber’. 

उबेर और ओला केब से खराब ड्राइवर्स सहेजें
06 नवंबर, 2017
उबेर और ओला केब से खराब ड्राइवर्स सहेजें

ओला, उबर ड्राइवर जनता से मदद मांगना शुरू करते हैं

कृपया खराब चालक के परिवारों को बचाएं 'और' ओला और उबर से बचाव '

प्रवीण कुमार, अपनी टैक्सी की ईएमआई का भुगतान करने में असमर्थ, आत्महत्या करने के लिए भारत का पहला उबेर ड्राइवर बन गया। ओला / उबेर कैब चालकों द्वारा हिंसक हमलों ने शुक्रवार को अपने आठवें दिन प्रवेश किया था, यह समय पर इन सब्सिडी के नेतृत्व वाले, संपत्ति-हल्की मॉडलों की वास्तविक लागत पर सवाल उठाने का समय है, जो ऑन-डिमांड अर्थव्यवस्था पर हावी है।

ओला और उबेर कैब्स के अधिकांश भाग सड़क पर बने रहे, कई ड्राइवरों ने एक उपन्यास विरोध शुरू किया एम.जी. पर पट्टियों को पकड़ना रोड, उन्होंने यात्रियों को याचिका दायर करने के लिए 1 रुपए का उनके कारण के लिए दान करने का अनुरोध किया।

10 से अधिक ड्राइवरों वाले प्लाकार्ड जो नारे लगाते थे जैसे 'कृपया चालक के परिवारों को बचाओ' और 'ओला और उबर से हमें बचाओ'

ड्राइवरों में से एक एक सूअर का बच्चा बैंक आयोजित किया और लोगों से पैसा दान करने के लिए अनुरोध किया।

"सरकार हमारी मदद करने के लिए आगे नहीं आ रही है इसलिए हम लोगों को हमारी समस्याओं को समझने के लिए कह रहे हैं, "नाम न छापने की शर्त पर ड्राइवर ने कहा।

ओला और उबेर से जुड़ी एक लाख कारों में से अधिकांश 22 फरवरी के बाद से रवाना हो गए हैं। विरोध करने वाले का दावा है कि अब तक टैक्सी एग्रीगेटर कंपनियों से कोई प्रतिक्रिया नहीं हुई है।

ओला-टैक्सी फोरशोर-उबेर ड्राइवर्स और ओनर्स यूनियन के समन्वयक तनवीर पाशा ने कहा, "हमने भूख के विरोध को रोकने की अनुमति मांगने वाले पुलिस से संपर्क किया है, हालांकि हमें यह नहीं मिला है।"

12 फरवरी को, प्रवीण कुमार, अपनी टैक्सी की ईएमआई का भुगतान करने में असमर्थ, आत्महत्या करने के लिए भारत में पहला उबेर ड्राइवर बन गया। ओला / उबेर ड्राइवरों द्वारा हिले हुए हमले शुक्रवार को अपने आठवें दिन दर्ज किए जाने के बाद, समय पर इन सब्सिडी के नेतृत्व वाले संपत्ति-हल्की मॉडलों की वास्तविक लागत पर सवाल उठाने का समय है जो ऑन-डिमांड अर्थव्यवस्था पर हावी है।

'ऑन-डिमांड' एक शानदार आधार है लेकिन इन मॉडलों में कई दोष हैं:

ऑन-डिमांड, लेकिन किस कीमत पर: हम सभी चीजों को तेजी से जानते हैं और बेहतर लागतें ज्यादा हैं तो एक नई कार पर तुरन्त सवारी करने के लिए कितना लागत आएगी? एक नियमित टैक्सी को उगलाने के लिए आपको क्या कीमत आएगी यह अजीब लगता है लेकिन ऐसा नहीं है। लगभग सभी मांगकर्ता खिलाड़ी अपनी पूंजी के छोटे भाग में अपनी वास्तविक लागत के लिए सब्सिडी के लिए उद्यम पूंजीपतियों (वीसी) का पैसा इस्तेमाल कर रहे हैं। वे यात्रियों को कम और ड्राइवरों को चार्ज कर रहे हैं, और उस ग्राहक अधिग्रहण को बुला रहे हैं बेशक, दोनों यात्रियों और चालकों को जब तक पार्टी तक चली गई थी। और उबेर और ओला ने छोटे खिलाड़ियों और स्थानीय टैक्सी सेवाओं को बाजार से बंद कर दिया।

लेकिन जैसा कि पैसा अनिवार्य रूप से चलाने के लिए शुरू किया गया था, इसलिए इन सब्सिडी भी किया था पारिस्थितिकी तंत्र, कृत्रिम कम कीमतों पर खिलाया, जब मांग पर वास्तविक मांग स्पष्ट हो गई तब विद्रोह शुरू हुआ।


Praveen Kumar, unable to pay for his taxi’s EMI, became the first Uber driver in India to commit suicide. As violent strikes by Ola / Uber Cab Drivers entered its eighth day on Friday, it is time to question the real cost of these subsidy-led, asset-light models that dominate the on-demand economy.

Majority of the Ola and Uber Cabs remained off the road , Many  drivers started a novel protest. Holding placards on M.G. Road, they petitioned passers-by to donate Rs 1 symbolically towards their cause.

Over 10 drivers held placards that had slogans such as ‘Please save driver’s families’ and ‘Rescue us from Ola and Uber’. 

One of the drivers held a piggy bank and requested people to donate money.

“The government is not coming forward to help us. Hence we are asking the public to understand our problems,” said a driver on condition of anonymity.

A majority of the one lakh cars attached to Ola and Uber have remained off the road since February 22. Protesters claim that there has been no response from the taxi aggregator companies till now.

“We have approached the police seeking permission to hold a hunger protest, however we haven’t got it,” said Tanveer Pasha, a coordinator for Ola-TaxiForSure-Uber Drivers’ and Owners’ Union.

On February 12, Praveen Kumar, unable to pay for his taxi’s EMI, became the first Uber driver in India to commit suicide. As violent strikes by Ola/Uber drivers entered its eighth day on Friday, it is time to question the real cost of these subsidy-led, asset-light models that dominate the on-demand economy.

‘On-demand’ is a fantastic premise but there are several flaws in these models:

On-demand, but at what cost: We all know getting things faster and better cost more. So how much would it cost to get a ride on a new car instantly? Less than what it would cost you to hail a regular cab. This sounds illogical but it isn’t. Almost all on-demand players have been using money of venture capitalists (VCs) to subsidise their price to a tiny fraction of their real cost. They have been charging passengers less and paying drivers more, and calling that customer acquisition. Of course, both passengers and drivers loved it till the party lasted. And Uber and Ola wipe smaller players and local taxi services off the market.

But as the money inevitably started to run out, so did these subsidies. The ecosystem, fed on artificial low prices, started rebelling when the actual cost for on-demand became apparent.


Delhi Ola, Uber strike enters Day 8: Few cabs plying but commuter woes continue




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